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सहारनपुर , जैन बाग स्थित प्राचीन जैन मंदिर में श्री सिद्ध चक्र महामंडल विधान का शुभारंभ बुधवार प्रातः काल की मंगल बेला में ध्वजारोहण के साथ विधिवत रूप से हुआ। ध्वजारोहण का सौभाग्य चैधरी अनुज जैन को प्राप्त हुआ। इसके पश्चात घटयात्रा, मंडप शुद्धि सहित विभिन्न मांगलिक क्रियाएं श्रद्धा एवं विधिपूर्वक संपन्न हुईं। महामंडल विधान की सभी धार्मिक क्रियाएं सौधर्म इन्द्र, राजा श्रीपाल-मैना सुंदरी, कुबेर आदि स्वरूपों में विनय-कविता जैन, रवि-सीमा जैन, प्रवीण-गीता जैन, महायज्ञ नायक नरेंद्र-उषा जैन जैसे पात्रों द्वारा मंत्रोच्चार और वैदिक विधि-विधान के साथ पूर्ण की गईं। धार्मिक सभा को संबोधित करते हुए परम पूज्य आचार्य श्री विमर्श सागर जी महाराज ने श्रद्धालुओं को जीवन में संयम, भक्ति और समय के सदुपयोग की प्रेरणा दी। उन्होंने कहा कि आज का मानव मोबाइल में इतना व्यस्त है कि प्रभु की भक्ति के लिए एक घंटा भी नहीं निकालता। सांसारिक कार्य मोबाइल से पूरे हो सकते हैं, पर आत्मकल्याण नहीं। प्रभु भक्ति से ही हमें शाश्वत सुख, शांति और समृद्धि प्राप्त होती है। उन्होंने श्रद्धालुओं से आठ दिवसीय अष्टाह्निका महाविधान में संकल्पपूर्वक भाग लेने और संयमयुक्त आचरण करने का आह्वान किया। उन्होंने कहा कि यह दुर्लभ सौभाग्य है कि सहारनपुर जैसे धर्मनगरी में चतुर्विध संघ की सन्निधि में यह विधान हो रहा है। श्री सिद्ध चक्र महामंडल विधान में की गई भक्ति सातिशय पुण्य प्रदान करती है। कार्यक्रम में समाज के अध्यक्ष राजेश कुमार जैन, संरक्षक राकेश जैन, सीए अनिल जैन, चै. अनुज जैन, संदीप जैन, नितिन जैन, अजय जैन, दीपक जैन, मुकेश जैन, पंकज जैन, विपिन जैन, विभोर जैन, सुरेंद्र जैन, वैभव जैन, संजय जैन (चूड़ी वाले), प्रवीण जैन, रवि जैन (कूलर वाले), संजय जैन ), अजय जैन, प्रदीप जैन, आयुष जैन, राजा जैन, राजीव जैन सर्राफ समेत सैकड़ों श्रद्धालु श्रावक-श्राविकाएं उपस्थित रहे। पूजन विधान की समस्त सामग्री विनोद जैन-आदित्य जैन परिवार द्वारा समर्पित की
गई।

