जौनपुर। पिता व दो पुत्रों की दिल दहला देने वाले हत्याकांड में छानबीन के दौरान प्रकाश में आए आरोपितों में से दो और को पुलिस ने रविवार को क्षेत्र के महरुपुर रेलवे ओवरब्रिज के पास से गिरफ्तार कर लिया। मुख्य आरोपित 25 हजार का इनामी अरविंद नागर उर्फ गोलू अभी भी गिरफ्त से दूर है।

क्षेत्र के मोहम्मदपुर कांध गांव निवासी जल निगम के ठेकेदार लालजी गौतम व उनके पुत्रों गुड्डू व यादवीर की 25 मई की शाम पांच से छह बजे के बीच नेवादा अंडरपास के पास स्थित कारखाने में लोहे के सरिया व हथौड़े से सिर कूचकर हत्या कर दी गई थी।

26 मई की सुबह तीनों के शव कारखाने पर आराम करने के लिए बनाए गए एक कमरे में मिले थे। स्वजन की तहरीर पर तीन नामजद व अन्य अज्ञात के विरुद्ध मुकदमा दर्ज हुआ था।

पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए बसपा के पूर्व जिलाध्यक्ष पल्टूराम नागर व उसके दामाद नागमणि को दूसरे दिन ही गिरफ्तार कर चालान कर दिया था। पल्टूराम नागर के फरार पुत्र गोलू पर 25 हजार रुपये का एसपी डा. कौस्तुभ ने इनाम घोषित कर दिया था।
इसी के साथ ही थाना प्रभारी निरीक्षक जेपी यादव, हलका दारोगा व सिपाही को निलंबित कर दिया था। राजफाश के लिए गठित आठ पुलिस टीमें सीओ सिटी देवेश सिंह के नेतृत्व में रात-रात एक किए रहीं।
सीओ सिटी देवेश सिंह ने बताया सुराग मिला कि प्रकाश में आए दो आरोपित केराकत कोतवाली के टिसौरी गांव निवासी प्रिंस निषाद व सरपतहां थाना के बुमकहां निवासी सौरभ बिंद रेलवे ओवरब्रिज के पास मौजूद हैं।
थाना प्रभारी निरीक्षक विश्वनाथ प्रताप सिंह ने टीम के साथ पहुंचकर दोनों को गिरफ्तार कर लिया। उनकी निशानदेही पर घटना में प्रयुक्त हथौड़ा बरामद कर लिया गया।
ऐसे दिया था सनसनीखेज वारदात को अंजाम
पत्रकारों से बातचीत में सीओ सिटी देवेश सिंह ने बताया वांछित मुख्य आरोपित अरविंद कुमार नागर उर्फ गोलू के साथ सौरभ बिंद व प्रिंस निषाद 25 मई की शाम पांच से छह बजे के बीच लालजी के कारखाने पर दो अलग-अलग बाइक से गए।
कारखाने के बगल के कमरे में बैठे लालजी की हथौड़े से वार कर हत्या कर दी। चीख-पुकार सुनकर जैसे ही गुड्डू कमरे के पास पहुंचा तीनों ने गला घोंटकर हथौड़े से वार कर उसका भी काम तमाम कर शव कमरे में रख दिया।
खराद मशीन पर काम कर रहा यादवीर पहुंचा तो उसे भी हथौड़े मार डाला। शव घसीटते हुए कमरे में ले जाकर फिर हथौड़े से कई और वार किए।
मुकदमे की रंजिश बनी दहला देने वाली घटना की वजह
सीओ सिटी ने बताया पूछताछ से पता चला कि लंबे समय से चले आ रहे विवाद व मुकदमा संबंधी रंजिश घटना का कारण बनी। बहन को भगा ले जाने की घटना से कुंठित होकर गोलू ने मुंबई में सौरभ व प्रिंस के साथ मिलकर हत्या की साजिश रची थी।
डीवीआर के बारे में पूछने पर सीओ सिटी ने कहा कि पूछताछ के दौरान दोनों ने बताया घटना बाद रात नौ बजे गोलू बाइक से फिर कारखाने पर गया और वहां लगे डीवीआर को निकाल लाया। घर पर वापस आकर खून लगे अपने कपड़े निकालकर उसमें डीवीआर लपेटकर घर के पास कूड़ेदान में डालकर जला दिया था।

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