रुद्रपुर। नानकमत्ता डेरा कारसेवा प्रमुख बाबा तरसेम सिंह की हत्या में शामिल शूटर सर्वजीत सिंह ने 24 घंटे की रिमांड पर चार्जशीट में दाखिल और हत्या से जुड़े कई रहस्य से परदा उठाया। जिसके बाद से पुलिस हत्याकांड के मुख्य साजिशकर्ता बाबा अनूप सिंह की तलाश में जुट गई है। इसके लिए संदिग्धों से पूछताछ भी कर रही है। बाद में पुलिस ने रिमांड पूरी होने के बाद शूटर सर्वजीत सिंह को जेल भेज दिया।
एसएसपी मणिकांत मिश्रा ने बताया कि 28 मार्च, 2024 को बाबा तरसेम सिंह की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। मामले में पुलिस ने दोनों शूटर सर्वजीत सिंह और अमरजीत सिंह उर्फ बिट्टू के साथ ही बाईस्तवा गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी नानकमत्ता साहिब के प्रधान और पूर्व आइएएस हरबंस सिंह चुघ, तराई महासभा के उपाध्यक्ष प्रीतम सिंह संधू और गुरुद्वारा श्री हर गोविंद सिंह रतनपुरा नवाबगंज के मुख्य जत्थेदार बाबा अनूप सिंह पर प्राथमिकी पंजीकृत की है।
जांच के बाद पुलिस ने हत्या के षड्यंत्र में शामिल और शूटरों को राइफल उपलब्ध कराने के आरोपित दिलबाग सिंह, अमनदीप सिंह उर्फ काला, हरमिंदर उर्फ पिंदी, बलकार सिंह, परगट सिंह, जसपाल सिंह भट्टी उर्फ मिंटू व सुखदेव सिंह उर्फ सोनू के साथ ही सुल्तान व सतनाम को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था। एक शूटर अमरजीत सिंह उर्फ बिट्टू हरिद्वार में मुठभेड़ में मारा गया था। मामले में पुलिस चार्जशीट भी दाखिल कर चुकी है।
इस बीच दो लाख के इनामी दूसरे शूटर सर्वजीत सिंह को भी तरनतारन पंजाब से गिरफ्तार कर पुलिस जेल भेज चुकी है। शनिवार को सीओ सितारगंज भूपेंद्र सिंह धौनी की अगुआई में पुलिस टीम ने 24 घंटे की रिमांड पर लेकर उससे पूछताछ की। इस दौरान पूर्व में चार्जशीट में दाखिल बाबा तरसेम सिंह की हत्या के मुख्य साजिशकर्ता और हत्या के लिए दी गई सुपारी समेत अन्य बिंदुओं पर भी पूछताछ की गई।
इस संबंध में पुलिस को कई सवालों के जवाब मिले। इसके बाद पुलिस ने फरार चल रहे गुरुद्वारा श्री हर गोविंद सिंह रतनपुरा नवाबगंज के मुख्य जत्थेदार बाबा अनूप सिंह की तलाश तेज कर दी है। एसएसपी मिश्रा ने बताया कि रिमांड में पूछताछ के बाद सर्वजीत सिंह को वापस जेल भेज दिया गया है।

सर्वजीत सिंह के साले की संलिप्तता की जांच

बाबा तरसेम सिंह की हत्या के बाद फरार दो लाख के इनामी सर्वजीत सिंह की आर्थिक मदद उसके यूएस में रहने वाले साले ने की थी। रिमांड पर पूछताछ में वह अपने साले की संलिप्तता से इन्कार कर उसे बचाने का प्रयास करता रहा। सीओ सितारगंज भूपेंद्र सिंह धौनी ने बताया कि जोरावर सिंह का नाम भी प्रकाश में आया है। उसकी भी संलिप्तता की जांच की जा रही है।

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