गोरखपुर। महानगर के राप्तीनगर इलाके में शनिवार शाम सात बजे से बिजली के लिए हाहाकार मचा हुआ है। फर्टिलाइजर के पास सेतु निगम की खोदाई में 33 हजार वोल्ट की लाइन का भूमिगत केबल कट गया। इस कारण राप्तीनगर न्यू उपकेंद्र बंद हो गया।
लापरवाही का आलम यह है कि कुछ दिनों पहले खोदाई में कटी लाइन को अभियंताओं ने ठीक ही नहीं कराया। वैकल्पिक व्यवस्था के तहत राप्तीनगर ओल्ड उपकेंद्र से आपूर्ति शुरू कराई गई लेकिन लोड ज्यादा बढ़ने के कारण 132 केवी पारेषण उपकेंद्र एफसीआइ में दिक्कत होने लगी।
इससे रोस्टर के आधार पर आपूर्ति शुरू करनी पड़ी। 20 हजार घरों में बिजली का संकट है। पूरी रात बिजली न होने से पानी के लिए भी त्राहि-त्राहि मची है। वीआइपी से लगायत आम उपभोक्ता तक परेशान हैं। कई लोगों ने शनिवार पूरी रात सड़क पर टहलकर काटी।
एफसीआइ पारेषण उपकेंद्र से राप्तीनगर न्यू व राप्तीनगर ओल्ड उपकेंद्रों से आपूर्ति होती है। एफसीआइ उपकेंद्र के पास सेतु निगम काम करा रहा है। शनिवार शाम तकरीबन सात बजे गड्ढा की खोदाई करते समय केबल कट गया। धमाके के साथ ही राप्तीनगर न्यू उपकेंद्र बंद हो गया।
अभियंताओं ने गड़बड़ी की तलाश शुरू कराई तो पता चला कि खोदाई में केबल कटा है। जांच में जानकारी हुई कि भूमिगत मुख्य केबल पहले ही कट चुका था। वैकल्पिक केबल के सहारे उपकेंद्र को आपूर्ति दी जा रही थी। इसके बाद राप्तीनगर ओल्ड उपकेंद्र से राप्तीनगर न्यू उपकेंद्र से जुड़े इलाकों में आपूर्ति देने का निर्णय लिया गया लेकिन एक ही लाइन पर लोड बढ़ने के कारण पारेषण उपकेंद्र में दिक्कत होने लगी।
उपभोक्ता परेशान, उमस भरी गर्मी में नहीं मिल रहा समाधान
16 घंटे से बिजली न होने से उपभोक्ताओं के सब्र का बांध टूटने लगा है। शक्तिनगर निवासी राम सिंह ने कहा कि इन्वर्टर बैठ चुका है। एक-दो बार बिजली आई भी तो इतना कम वोल्टेज था कि मजबूरी में सभी उपकरणों को बंद करना पड़ा। लग ही नहीं रहा है कि गोरखपुर के निवासी हैं। न तो अधिशासी अभियंता जवाब दे रहे हैं और न ही अवर अभियंता। यह पूरी तरह लापरवाही का मामला है।

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